लोक आस्था का महापर्व छठ पूजा शुरू
लोक आस्था का महापर्व छठ पूजा शुरू
भोपाल। भोजपुरी एकता मंच अध्यक्ष कुंवर प्रसाद ने बताया कि छठ पूजा संतान प्राप्ति एवं संतान की सुख समृद्धि के लिए किया जाएगा यह 36 घंटे का निर्जला व्रत रहेगा।
छठ पूजा का महत्व
छठी देवी ब्रह्मा जी के मानस पुत्री हैं कहां जाता है कि ब्रह्मा जी के दाएं हाथ से पुरुष एवं बाय भागसे प्रकृति का जन्म हुआ
प्रकृति ने अपने आप को छह भागों में बांट लिया प्रकृति के छठवें भाग को shasthi देवी कहा गया। नहाए खाए 17 नवंबर 2023 को जिसमें चना दाल कद्दू की सब्जी रोटी अरवा चावल शामिल होता है।
18 नवंबर 2023 खरना होगा
पूरे दिन निर्जल उपवास रखने के उपरांत शाम को गुड़ की खीर एवं घी वाली रोटी पूजा अर्चना के उपरांत महाप्रसाद के रूप में ग्रहण करते हैं व्रतधारी एवं प्रसाद का वितरण किया जाता है।
19 नवंबर 2023 को डाला छठ पूजा है जिसमें सभी व्रत धारी दोपहर बाद शीतल दास की बगिया वाली घाट पर पहुंच कर बस के सुपर में ऋतु फल ठेकुआ पकवान गागल नारियल गाना अक्षरा सिंदूर चना मौसमी तथा अदरक पत्ते वाले मूली पत्ते वाली हल्दी पत्ते वाली शादी के सूट में रहकर कमर भर पानी में खड़े होकर डूबते हुए सूर्य भगवान को अर्ध अर्पित की जाएगी शाम का अर्थ पानी से दिया जाएगा
20 नवंबर 2023 को समापन होगा उगते हुए सूर्य भगवान को बस के सूप में ऋतु फल एवं पकवान सजा कर गाय के कच्चे दूध से अर्घ्य अर्पित किया जाएगा सूर्य भगवान उसके उपरांत इस व्रत का समापन होगा जिसे पारण कहते हैं।