जीएसटी देश की गरीब जनता भुगत रही है – राहुल गांधी, सतना में बोले राहुल कि जहां भाजपा वहां युवाओं में बेरोजगारी
जीएसटी देश की गरीब जनता भुगत रही है – राहुल गांधी, सतना में बोले राहुल कि जहां भाजपा वहां युवाओं में बेरोजगारी जीएसटी देश की गरीब जनता भुगत रही है – राहुल गांधी, सतना में बोले राहुल कि जहां भाजपा वहां युवाओं में बेरोजगारी
भोपाल। अपनी पार्टी कांग्रेस के पक्ष् में चुनाव प्रचार करने सतना जिला पहुचें कांग्रेस के पूर्व अधयक्ष् राहुल गांधी ने कहा है कि -मैं भारत जोड़ो यात्रा के दौरान गरीब, किसान सभी से मिला। जहां भी बीजेपी की सरकार थी, वहां युवाओं ने मुझसे एक ही बात कही कि हम बेरोजगार हैं।
बता दें कि राहुल सुबह विशेष विमान से सतना पहुंचें। कार्यकर्ताओं से मुलाकात के बाद वे बीटीआई मैदान पर पहुंचे। मंच पर जिले की सातों विधानसभा सीटों के प्रत्याशी मौजूद थे। दोपहर 1.25 बजे वे बड़वानी के राजपुर भी जायेंगे।यहां मंडी परिसर में जनसभा को संबोधित करेंगे। राहुल के दौरे से सतना जिले की सात और बड़वानी जिले की चार विधानसभा सीटें शामिल हैं।
हमारे सरकार की चोरी शिवराज ने की है –
सतना में राहुल गांधी ने यह भी कहा कि – मोदी और शिवराज ने हमारी सरकार चोरी की। क्योंकि वो जानते हैं कि कांग्रेस सरकार अडानी के लिए काम नहीं करेगी। मोदी हर रोज नया और लाखों रुपए का कपड़ा पहनते हैं।
राहुल गांधी ने जो कहा वो ऐसा है –
उन्होंने कहा कि रोजगार बड़े-बड़े उद्योगपति नहीं देते। रोजगार छोटे व्यापारी उपलब्ध कराते हैं। इसलिए इन्होंने देश में छोटे व्यापारियों को टारगेट किया जीएसटी के जरिए। पहली बार देश का किसान टैक्स भरने के लिए मजबूर हो गया। ये जीएसटी देश की गरीब जनता देती है। ये ओबीसी, दलित, आदिवासी तबके के लोगों से जीएसटी लेते हैं और पूरा पैसा बड़े उद्योगपतियों को पकड़ा देते हैं।
बीजेपी की सरकारें गरीबों से जीएसटी लेती है और बैंक का पूरा पैसा अडानी अंबानी जैसे तीन-चार उद्योगपतियों को दे देती हैं।मनरेगा गरीबों की जेब में पैसा देने की योजना थी।
कांग्रेस ने मनरेगा दिया, भोजन का अधिकार दिया। ये सब गरीबों के लिए। उनके जेब में पैसा देने का काम किया। लेकिन नोटबंदी और जीएसटी तो गरीबों की जेब से पैसा लेती है।
मप्र में क्या हुआ है। मप्र में जो नींव थी उसे बीजेपी ने उखाड़ के फेंक दिया। नींव किसान, मजदूर, बेरोजगार युवा, छोटे दुकानदार और मध्यम व्यापार चलाने वाले हैं। बीजेपी ने 20 साल में इन्हें खत्म कर दिया।
मप्र में 18 हजार किसानों ने कर्ज के कारण आत्महत्या की क्योंकि बीजेपी ने किसान को सही दाम नहीं दिया। मप्र में सही रेत नही मिलता, कर्ज लेना पड़ता है।