2021 का IPO रिकॉर्ड टूटने की संभावना, दिसंबर तक 1.50 लाख करोड़ का आंकड़ा हो सकता है पार

घरेलू बाजार में आईपीओ का रिकॉर्ड टूट गया है। इस साल अब तक कुल 72 कंपनियों ने इश्यू के जरिये 1,21,745 करोड़ रुपये जुटाए हैं। इससे पहले 2021 में 63 कंपनियों ने 1.20 लाख करोड़ जुटाए थे। 2017 में 75,279 करोड़ की तीसरी सबसे बड़ी रकम जुटाई गई थी।

क्या कहते विश्लेषक..
विश्लेषकों के मुताबिक आईपीओ का यही रुझान बना रहा तो दिसंबर तक कंपनियां 1.50 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा की रकम जुटा सकती हैं। आंकड़ों के मुताबिक, इस महीने में अब तक चार कंपनियों ने18,533 करोड़ रुपये जुटाए हैं। इसमें सबसे अधिक 11,327 करोड़ रुपये स्विगी ने जुटाए हैं। इस महीने अभी भी 10 आईपीओ आने वाले हैं। इसमें सबसे बड़ा 10,000 करोड़ रुपये एनटीपीसी ग्रीन एनर्जी का होगा। एचडीएफसी बैंक की कंपनी एचडीबी फाइनेंशियल भी बाजार में आने वाली है। इसने 12,500 करोड़ रुपये जुटाने के लिए सेबी के पास मसौदा जमा करा दिया है। 10,000 करोड़ रुपये का ऑफर फॉर सेल होगा।

90 तक पहुंच सकती है कंपनियों की संख्या
दिसंबर तक आईपीओ से रकम जुटाने वाली कंपनियों की संख्या 90 तक पहुंच सकती है। वैसे आईपीओ की संख्या के लिहाज से रिकॉर्ड टूट चुका है। 2021 में 63 कंपनियों ने 1.20 लाख करोड़ रुपये जुटाए थे। 2023 में 58 कंपनियों ने 49,437 करोड़ व 2022 में 40 कंपनियों ने 59,939 करोड़ जुटाए थे।

छोटी-मझोली कंपनियों ने जुटाए 8,124 करोड़ रुपये
एसएमई कंपनियों ने पिछले 12 वर्षों का रिकॉर्ड तोड़ा है। 216 कंपनियों ने इस साल 8,124 करोड़ जुटाए हैं। 2012 में एसएमई प्लेटफॉर्म के लॉन्च होने के बाद यह सर्वाधिक रकम है। इससे पहले 2023 में 182 कंपनियों ने 4,967 करोड़ रुपये की रकम जुटाई थी। सबसे ज्यादा कैपिटल गुड्स की कंपनियां : सबसे अधिक 21 कंपनियां कैपिटल गुड्स क्षेत्र की रही हैं। इसके बाद सेवा क्षेत्र की 9 और कंस्ट्रक्शन की 8 कंपनियां रही हैं। अन्य क्षेत्र की 24 कंपनियां रही हैं। 2023 में कैपिटल गुड्स की 27 कंपनियां बाजार में उतरीं थीं।

विभोर स्टील को सबसे अधिक सब्सक्रिप्शन
इस साल आईपीओ में विभोर स्टील को सबसे अधिक 324 गुना सब्सक्रिप्शन मिला है। मानबा फाइनेंस को 224 गुना, केआरएन हीट को 213 गुना, गाला प्रीसीजन को 201 गुना और यूनिकॉर्न ई-सोल्यूशन को 168 गुना सब्सक्रिप्शन मिला है। फायदा देनेवाले में केआरएन हीट ने 167 फीसदी का लाभ दिया है। प्रीमियर एनर्जी ने 150 फीसदी, भारती हेक्सॉकॉन ने 142 फीसदी का फायदा दिया है।

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