ग्राम पंचायतों को विकास के विभिन्न आयामों में सशक्त कर बनाएंगे प्रदेश को 2030 तक अग्रणी इसमें हितधारकों के सुझाव महत्वपूर्ण -ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज मंत्री -राज्य स्तरीय आमुखीकरण एवं सेंसेटाइजेशन कार्यक्रम से बड़ी संख्या में जुडे़ हितधारक -ग्राम पंचायत स्तर तक सजीव प्रसारण, विभिन्न जिलों से कई उपयोगी सुझाव मिले
ग्राम पंचायतों को विकास के विभिन्न आयामों में सशक्त कर बनाएंगे प्रदेश को 2030 तक अग्रणी इसमें हितधारकों के सुझाव महत्वपूर्ण -ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज मंत्री -राज्य स्तरीय आमुखीकरण एवं सेंसेटाइजेशन कार्यक्रम से बड़ी संख्या में जुडे़ हितधारक -ग्राम पंचायत स्तर तक सजीव प्रसारण, विभिन्न जिलों से कई उपयोगी सुझाव मिले
जयपुर, 5 सितम्बर। ग्रामीण विकास एवं पंचायती राज मंत्री श्री रमेश चन्द मीना ने कहा है कि राजस्थान मिशन 2030 के लिए विभाग का विजन डॉक्यूमेंट तैयार करने में विभाग से जुडे़ सभी हितधारकों के उपयोगी सुझावों को शामिल किया जाएगा। उन्होंने राजस्थान को देश में अग्रणी प्रदेश बनाने के सम्बन्ध में अपना नजरिया बताते हुए कहा कि 2030 तक प्रदेश में हर ग्राम पंचायत को गरीबी मुक्त और आजीविका युक्त बनाकर, महिलाओं एवं बच्चों के स्वास्थ्य, शिक्षा, सुरक्षा की समुचित व्यवस्था, जल, पर्यावरणए प्रकृति संरक्षण एवं आधारभूत संरचना निर्माण सहित विभिन्न आयामों के विस्तार से उन्नति का वातावरण तैयार किया जाएगा।
श्री मीना मंगलवार ने शासन सचिवालय स्थित कांफ्रेस हॉल में वीसी के माध्यम से समस्त हितभागियों के राज्य स्तरीय आमुखीकरण एवं सेंसेटाइजेशन कार्यक्रम की अध्यक्षता करते हुए कहा कि प्रदेश को अग्रणी बनाने के लिए लोगों के सुझाव एवं पंचायती राज की त्रिस्तरीय व्यवस्था में उनकी सहभागिता जरूरी है। इसलिए उनकी कोशिश रही है कि ग्राम सभाओं का आयोजन नियमित रूप से हो एवं विकास कार्यों के क्रियान्वयन से पहले उन कार्यों की चर्चा ग्रामसभा में आवष्यक रूप से हो। साथ ही पंचायत समिति एवं जिला परिषद की नियमित बैठकों में भी उन पर चर्चा हो। बाल पंचायत जैसे प्रयासों से बच्चों को भी पंचायती राज व्यवस्था से जोड़ने के प्रयास को प्रोत्साहन दिया गया है।
अतिरिक्त मुख्य सचिव श्री अभय कुमार ने कहा कि प्रदेशभर से विजन डॉक्यूमेंट के लिए काफी उपयोगी सुझाव मिल रहे हैं। उन्होंने सुझाव दिया कि राजीविका के स्वयं सहातया समूहों को निजी उद्योंगों से जोड़ना चाहिए जिससे महिला समूहों के उत्पाद गुणवत्ता में अपने दम पर बाजार में कम्पीट कर सकें।
पंचायती राज विभाग के शासन सचिव श्री रवि जैन ने कार्यक्रम का संचालन किया एवं सभी हितभागियों को पंचायती राज व्यवस्था एवं विभाग के कार्यों एवं उपलब्धियों की जानकारी दी। इसी प्रकार शासन सचिव ग्रामीण विकास श्रीमती मंजू राजपाल ने भी राजीविका की संरचनाए पंच सूत्र एवं उपलब्धियों के सम्बन्ध में प्रस्तुतीकरण दिया।
जोधपुर, उदयपुर, सीकर, बांसवाड़ा, पाली, बीकानेर, कोटा सहित विभिन्न जिलों से राजीविका, नरेगा, चरागाह विकास एवं अन्य कई योजनाओं के साथ ही पंचायती राज एवं ग्रामीण विकास के सम्बन्ध में कई उपयोगी सुझाव मिले। राज्य स्तरीय कार्यक्रम में शामिल विभिन्न एनजीओ, हितधारकों ने भी कई उपयोगी सुझाव दिए। बारिश का पानी सहेजने, हर ग्राम पंचायत पर 25 बीघा जमीन पर चरागाह विकास, उड़ान योजना की तरह पोषाहार और स्कूल यूनिफॉर्म से राजीविका को जोड़ने, हर डेटा की मजबूती के लिए रेवेन्यू मैप पर हाइड्रोलॉजीए मेट्रॉलॉजी डेटा को सुपरइम्पोज करने, ग्राम पंचायतों में सुझाव पेटी रखने, एक पंचायत एक उद्योग के लिए काम करने जैसे कई सुझाव इस मौके पर दिए गए।
कार्यक्रम में मुख्यमंत्री के संदेश के साथ विजन 2030 वीडियो का प्रदर्शन एवं मिशन 2030 के लिए विजन डॉक्यूमेंट तैयार करने सम्बन्धी प्रक्रियाओं सम्बन्धी प्रस्तुतीकरण दिया गया। कार्यक्रम में संबंधित अधिकारियों के अलावा अन्य हितधारक, ग्राम विकास अधिकारी, जलग्रहण समिति सदस्य, राजीविका की महिलाएं एवं नरेगा मेट आदि भी शामिल हुए। इसके लिये समस्त हितधारकों को जिला परिषद वीसी रूम, पंचायत समिति वीसी रूम एवं ग्राम पंचायत स्तर पर ई-मित्र मशीनों के माध्यम से जोड़ा गया था। इस आमुखीकरण कार्यक्रम को यूट्यूब चौनल, ट्विटर, फेसबुक के माध्यम से बड़ी संख्या में लोगों द्वारा लाइव देखा गया।