श्रीमद्भागवत महापुराण कथा के प्रथम दिन बड़ी ही धूम धाम से निकाली गई मंगल कलश यात्रा

आगरा। रामलाल वृद्धाश्रम कैलाश मंदिर सिकंदरा आगरा में रामलाल वृद्धाश्रम व गौशाला के तत्वावधान में चल रही श्रीमद्भागवत महापुराण कथा के प्रथम दिन रविवार को बड़ी ही धूम धाम से मंगल कलश यात्रा निकाली गयी। झूलेलाल मंदिर यमुना तट से मां यमुना मैया के सीतल जल भर कर सभी महिलाएं कथा मंडप तक झूमती नाचती पहुँची। इस पावन पित्र पक्ष में रामलाल वृद्धाश्रम के सभी बुजुर्गजन भगवान की पवित्र पावन कथा का रसपान करेंगे। वृन्दावन की कथा व्यास पूज्या पं गरिमा किशोरी जी ने श्रीमद्भागवत कथा की महत्ता पर विस्तार से प्रकाश डाला।उन्होंने कहा कि बिनु परतीती होई नहीं प्रीति अर्थात माहात्म्य ज्ञान के बिना प्रेम चिरंजीव नहीं होता, अस्थायी हो जाता है। धुंधकारी चरित्र पर प्रकाश डालते हुए कहा कि आत्मसात कर लेें तो जीवन से सारी उलझने समाप्त हो जाएगी। द्रौपदी, कुन्ती महाभागवत नारी है। कुन्ती स्तुति को विस्तारपूर्वक समझाते हुए परीक्षित जन्म एंव शुकदेव आगमन की कथा सुनाई। पश्चात गौकर्ण की कथा सुनाई गई भगवान के चरणों में जितना समय बीत जाए उतना अच्छा है। इस संसार में एक-एक पल बहुत कीमती है। जो बीत गया सो बीत गया। इसलिए जीवन को व्यर्थ में बर्बाद नहीं करना चाहिए। भगवान द्वारा प्रदान किए गए जीवन को भगवान के साथ और भगवान के सत्संग में ही व्यतीत करना चाहिए।उन्होंने कहा कि भागवत प्रश्न से प्रारंभ होती है और पहला ही प्रश्न है कि कलयुग के प्राणी का कल्याण कैसे होगा। इसमें सतयुग, त्रेता और द्वापर युग की चर्चा ही नहीं की गई है। ऐसे में यह प्रश्न उठता है कि बार-बार यही चर्चा क्यों की जाती है, अन्य किसी की क्यों नहीं। इसके कई कारण हैं जैसे अल्प आयु, भाग्यहीन और रोगी।
इसलिए इस संसार में जो भगवान का भजन न कर सके, वह सबसे बड़ा भाग्यहीन है। भगवान इस धरती पर बार-बार इसलिए आते हैं ताकि हम कलयुग में उनकी कथाओं में आनंद ले सकें और कथाओं के माध्यम से अपना चित्त शुद्ध कर सकें। व्यक्ति इस संसार से केवल अपना कर्म लेकर जाता है। इसलिए अच्छे कर्म करो। भाग्य, भक्ति, वैराग्य और मुक्ति पाने के लिए भगवत की कथा सुनो।
इस पावन पर अवसर पर परिक्षित ज्योति एवं शिव प्रशाद शर्मा , कुंती देवी,चांदनी भोजवानी, राजरानी गोयल, कपूरी, मीरा देवी,नंदलाल छतानी, रवि कांत, मंजीत सिंह, आशुरानी,नीलम, सीमा मंगल, काजल,रानू तीर्थानि, उमा, अग्रवाल, अर्चना गौतम, विजय लक्ष्मी, आशादेवी, उर्मिला बंसल, निशा, राधिका, किरण, ज्योति, जिया, राधादेवी, प्रभाकर शर्मा ,विनय शर्मा, अजय शर्मा,विनोद वनवारी, विक्की जीवलानी, मनोज तीर्थानि , आदि लोग उपस्थित रहे।

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